नींद की बीमारियों से रहें सावधान
By: एजेंसी , ओन्ली माई हैल्थ सम्पादकीय विभाग
| 0 views
डॉक्टर नींद से संबंधित छोटी से छोटी समस्या के प्रति उदासीनता से बचने की सलाह देते हैं। डॉक्टरों का मानना है कि एक तिहाई मनुष्यों में स्पष्ट तौर पर नींद से संबंधित 80 बीमारियों में से कोई न कोई बीमारी होती है।
जिसमें से कुछ बहुत ही हानिकारक होते हैं। अगर हम थोड़ा सा भी ध्यान दें तो इन बीमारियों से बच सकते है और सबसे अच्छी बात यह है कि इसका इलाज भी हमारे ही हाथों में है।
[इसे भी पढ़े- नींद क्यों नहीं आत
नींद हमारे जीवन का ऐसा हिस्सा है जिससे हम समझौता नहीं कर सकते। डॉक्टरों के मुताबिक हमारे सोने के तरीकों पर ही हमारा स्वास्थ्य निर्भर करता है। इसलिए नींद से संबंधित बीमारियों को लापरवाही से नहीं बरतनी चाहिए। नींद में कमी के कारण कई तरह की समस्याएं जन्म ले सकती हैं जिनमें स्मरण शक्ति का कमजोर होना, घबराहट, सुस्ती, तनाव, ठीक से तकिया न लगाने पर होने वाली दिक्कतें, मधुमेह, हृदयरोग तथा दिल का दौरा पड़ना आदि शामिल हैं। भारत में फिलिप्स तथा नील्सन कंपनी द्वारा हाल ही में किए गए एक अध्ययन में नींद से संबंधित कुछ रोचक तथ्य सामने आए हैं। इस अध्ययन के अनुसार ज्यादातर लोगों को नींद की कमी की शिकायत रहती है। इन लोगों में केवल दो फीसदी ही डॉक्टर के पास जाते हैं।
[इसे भी पढ़े- भरपूर नींद के फायदे]
93 फीसदी लोग पूरी नींद नहीं ले पाते हैं।
72 फीसदी लोग नींद के बीच में एक से तीन बार जगते हैं।
57 फीसदी लोगों का मानना है कि नींद की कमी के कारण उनका काम प्रभावित होता है।
रात में आठ घंटे से भी कम सो पाते है।
87 फीसदी लोगों का स्वास्थ्य नींद की कमी के कारण प्रभावित होता है।
62 फीसदी लोग प्रतिरोधात्मक श्वासरोधी बीमारी से ग्रसित हैं।
19 फीसदी लोगों का मानना है कि नींद की कमी के कारण परिवार के साथ संबंध प्रभावित होता है।
38 फीसदी लोगों ने काम के दौरान अपने सहयोगियों को सोते हुए देखा है।
33 फीसदी लोग नींद में खर्राटे लेते है।
11 फीसदी लोग नींद की कमी के कारण दफ्तर से छुट्टी ले लेते हैं।
72 फीसदी लोग नींद के बीच में एक से तीन बार जगते हैं।
57 फीसदी लोगों का मानना है कि नींद की कमी के कारण उनका काम प्रभावित होता है।
रात में आठ घंटे से भी कम सो पाते है।
87 फीसदी लोगों का स्वास्थ्य नींद की कमी के कारण प्रभावित होता है।
62 फीसदी लोग प्रतिरोधात्मक श्वासरोधी बीमारी से ग्रसित हैं।
19 फीसदी लोगों का मानना है कि नींद की कमी के कारण परिवार के साथ संबंध प्रभावित होता है।
38 फीसदी लोगों ने काम के दौरान अपने सहयोगियों को सोते हुए देखा है।
33 फीसदी लोग नींद में खर्राटे लेते है।
11 फीसदी लोग नींद की कमी के कारण दफ्तर से छुट्टी ले लेते हैं।
कोई टिप्पणी नहीं
एक टिप्पणी भेजें